![]() |
फोटो कैप्शन: हथियार डालकर पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण करते माओवादी |
IG Abhiyan Jharkhand: राजधानी रांची में सोमवार को पुलिस के समक्ष सरेंडर करनेवाले माओवादियों ने बड़ा खुलासा किया है. दरअसल, उन्होंने संगठन के बड़े नेताओं की पोल खोलकर रख दी है. 10 लाख के इनामी अमरजीत यादव ने साफ-साफ कहा कि संगठन के बड़े नेता सिर्फ पैसा कमाने में लगे हैं. शहरों में उनके बड़े-बड़े घर बन रहे हैं और उनके बाल बच्चे बड़े-बड़े शहरों में पढ़ाई कर रहे हैं. जबकि संगठनों में छोटे स्तर के लोगों को कोई सम्मान नहीं मिलता. माओवादी संतोष भुइयां ने भी अमरजीत के बयान की पुष्टि की.
बता दें कि, झारखंड पुलिस द्वारा आयोजित
ऑपरेशन दिशा कार्यक्रम में आइजी अभियान (ig abhiyan) अमोल
होमकर ने बताया कि इन माओवादियों ने बड़ी संख्या में हथियार भी सौंपे हैं.
कार्यक्रम में इनमें 10 लाख के इनामी जोनल कमांडर अमरजीत
यादव उर्फ टिंगू, 5 लाख के इनामी सब-जोनल कमांडर सहदेव यादव
उर्फ लटन, सब-जोनल कमांडर नीरू यादव उर्फ सलीम, सब-जोनल कमांडर संतोष भुईयां उर्फ सुकन, दस्ता सदस्य
अशोक बैगा उर्फ अशोक परहिया ने सरेंडर किया. कयास ये भी लगाया जा रहा है कि इनसे
प्रभावित होकर राज्य में बचे और भी नक्सली जल्द सरेंडर करेंगे.
गौरतलब है कि झारखंड में हेमंत सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास
नीति से प्रभावित होकर लगातार नक्सली आत्मसमर्पण कर रहे हैं. झारखंड पुलिस व CRPF
के अथक प्रयास से राज्य में नक्सली खात्मे की कगार पर है. पिछले
दिनों भाकपा माओवादी के क्षेत्रीय कमांडर इंदल गंझु उर्फ ललन गंझु ने आत्मसमर्पण
कर दिया. उस पर 15 लाख रुपये का इनाम था. खैर इस नीति का
मकसद ही माओवादियों को समाज की मुख्य धारा से जोड़ना है. वहीं, इस नीति के तहत अबतक कई आत्मसमर्पित नक्सलियों को लाभ दिया जा चुका है.
इसे Youtube पर भी देखें-
एक टिप्पणी भेजें
Thankyou!