Environment Day 2023: छत्तीसगढ़
के बलौदा बाजार व उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले के रहने वाले सौरभ
देवांगन और अजितेश शर्मा पदयात्रा पर निकले हुए हैं। छत्तीसगढ़,
उड़ीसा, बंगाल, सिक्किम, बिहार और झारखंड होते हुए वे करीब 7,000 किमी की यात्रा
पूरी कर वे रांची पहुंचे। अपनी इस
यात्रा को लेकर अजितेश ने बताया कि वे थिएटर आर्टिस्ट थे।
उन्होंने बताया कि लॉकडाउन की स्थिति देख वे चकित रह गये। जब वाहन का परिचालन कम हो गया तो प्रदूषण का ग्राफ घट गया। फिर हमने ठाना की पैदल यात्रा कर समाज को संदेश देनी चाहिए कि आप वाहन का प्रयाग कम करें। अभी हम जिस भी शहर से गुजरते हैं, वहां के लोगों से मुलाकात करता हूं और उन्हें पौधारोपण करने के साथ पर्यावरण सुरक्षा के लिए प्रोत्साहित करता हूं।
इसी कड़ी में अजितेश शर्मा बताते हैं कि पर्यावरण संरक्षण के संकल्प को लेकर निकाली जा रही हमारी पैदल यात्रा के खर्च का निर्वहन परिवार वाले करते हैं। देश के 12 राज्यों से होते हुए कुल 7 हजार किमी का सफर पूरा कर लिया है। इस पदयात्रा का मुख्य उद्देश्य देश की रक्षा, राष्ट्र निर्माण और पर्यावरण सुरक्षा का मैसेज देना है। क्योंकि, कुदरत के दिये हुए सभी चीजों का उपयोग हम कर लेंगे तो आने वाली पीढ़ी के लिए क्या बचेगा। इसलिए, सभी से गुजारिश है कि आप भी पेड़-पौधे लगाएं और ईंधन खपत होने वाली गाड़ी का उपयोग कम करें।
उन्होंने बताया कि लॉकडाउन की स्थिति देख वे चकित रह गये। जब वाहन का परिचालन कम हो गया तो प्रदूषण का ग्राफ घट गया। फिर हमने ठाना की पैदल यात्रा कर समाज को संदेश देनी चाहिए कि आप वाहन का प्रयाग कम करें। अभी हम जिस भी शहर से गुजरते हैं, वहां के लोगों से मुलाकात करता हूं और उन्हें पौधारोपण करने के साथ पर्यावरण सुरक्षा के लिए प्रोत्साहित करता हूं।
इसी कड़ी में अजितेश शर्मा बताते हैं कि पर्यावरण संरक्षण के संकल्प को लेकर निकाली जा रही हमारी पैदल यात्रा के खर्च का निर्वहन परिवार वाले करते हैं। देश के 12 राज्यों से होते हुए कुल 7 हजार किमी का सफर पूरा कर लिया है। इस पदयात्रा का मुख्य उद्देश्य देश की रक्षा, राष्ट्र निर्माण और पर्यावरण सुरक्षा का मैसेज देना है। क्योंकि, कुदरत के दिये हुए सभी चीजों का उपयोग हम कर लेंगे तो आने वाली पीढ़ी के लिए क्या बचेगा। इसलिए, सभी से गुजारिश है कि आप भी पेड़-पौधे लगाएं और ईंधन खपत होने वाली गाड़ी का उपयोग कम करें।
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